उत्तराखंड

UKPSC पेपर लीक मामले में भाजपा के नेता पर मुकदमा दर्ज, कई और नेताओं से पूछताछ जारी




उत्तराखंड लोक सेवा आयोग की जेई और एई की परीक्षा के पेपर लीक मामले में एसटीएफ की कार्रवाई जारी है। वहीं मामले में एसीएफ को अहम कड़ी हाथ लगी है। मामले में भाजपा नेता संजय धारीवाल पर मुकदमे के बाद भाजपा की राजनीति में भूचाल आ गया है।

भाजपा नेता ने की आरोपी की सिफारिश

ऐसा इसलिए कहा जा रहा है कि इसमें जिले के एक बड़े निर्वाचित नेता ने हस्तक्षेप किया था जबकि रुड़की क्षेत्र के ही एक मनोनीत भाजपा नेता ने आरोपी की सिफारिश की थी। पुलिस मनोनीत भाजपा नेता से भी लंबी पूछताछ कर चुकी है। जिस तरह से भाजपा नेता संजय धारीवाल एसटीएफ के शिकंजे में फंसा है उससे एक सवाल यह भी उठ रहा है कि आखिर इस काले धंधे में उसने कब से पांव जमाने शुरू किए।

संजय धारीवाल बना था मंगलौर भाजपा मंडल अध्यक्ष

इससे भी बड़ी बात यह है कि वह भाजपा नेताओं के संपर्क में आया और मंडल अध्यक्ष मनोनीत होने में भी कामयाब हो गया। गौरतलब है कि नारसन ब्लॉक के मोहम्मदपुर जट निवासी भाजपा नेता संजय धारीवाल की मां पंचायत चुनाव में प्रधान बनी हैं। मां को प्रधान बनाने में कामयाबी पाने के बाद वो भी मंगलौर भाजपा मंडल अध्यक्ष बन गया। इसके बाद उसे इस्तीफा देना पड़ा।

किसकी सिफारिश पर बनाया गया मंडल अध्यक्ष?

वहीं अब इस सवाल ने भाजपा में भूचाल ला दिया है कि संजय धारीवाल को किसकी सिफारिश पर मंडल अध्यक्ष बनाया गया था। सूत्रों का कहना है कि जिले में एक पद पर मनोनीत भाजपा महिला नेता से पुलिस कई दिन तक पूछताछ भी कर चुकी है। यही नहीं इन्हीं महिला नेता ने जिले के एक बड़े निर्वाचित नेता से भी सिफारिश लगवाई थी।

विपक्ष के निशाने पर भाजपा

मंगलौर भाजपा के पूर्व मंडल अध्यक्ष संजय धारीवाल का नाम आने से भाजपा को असहज होना पड़ा है। इससे पहले पार्टी की अधीनस्थ सेवा चयन आयोग की स्नातक भर्ती परीक्षा के पेपर लीक मामले में हाकम सिंह की गिरफ्तारी के बाद पार्टी विपक्ष के निशाने पर आ गई थी। फिलहाल भाजपा ने धारीवाल से किनारा कर लिया है। माना जा रहा है कि एई और जेई भर्ती के मामले में भी गड़बड़ी की होने की खबरें आने के बाद पुलिस ने छानबीन मंगलौर के संजय धारीवाल की भूमिका संदिग्ध माना था। इसकी सूचना पार्टी नेतृत्व तक पहुंच गई थी। 23 जनवरी को धारीवाल ने रुड़की के जिलाध्यक्ष को मंडल अध्यक्ष पद से अपना इस्तीफा दे दिया था।

 

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