श्रीनगर। बेस चिकित्सालय में उपचार के लिए बनाए गए रैन बसेरे का उपयोग अब मरीजों के देखभालकर्ताओं के रहने के लिए किया जाएगा। इससे दूर-दुर से आने वाले मरीजों और उनके परिजनों को आसानी से रहने का समाधान मिलेगा। पहले, बाउंड्रीवॉल की कमी के कारण रैन बसेरे के आसपास एक विद्युत पोल और राजमार्ग की ओर कोई सीमा नहीं थी, लेकिन अब बाउंड्रीवॉल की स्थापना के बाद, बेस चिकित्सालय प्रशासन जल्दी ही रैन बसेरे को खोलने का कार्य कर रहा है। इससे यह सुनिश्चित होगा कि आवश्यकताओं को पूरा करने के लिए रहने की सुविधा उपलब्ध हो।
प्रदेश के माननीय चिकित्सा स्वास्थ्य एवं चिकित्सा शिक्षा मंत्री डॉ. धन सिंह रावत जी की पहल पर बेस चिकित्सालय के आईसीयू बिल्डिंग के समीप रैन बसेरा का निर्माण कराया गया था, ताकि दूर-दराज के मरीजों के तीमारदारों को अस्पताल पहुंचने पर रहने की दिक्कतें ना हो। यहां नि:शुल्क रूप से ठहरने की व्यवस्था होगी। रैन बसेरा शुरु करने से पूर्व बेस चिकित्सालय प्रशासन ने बाउंड्रीवॉल बनाने के साथ रैन बसेरा के आगे बह रहे सार्वजनिक नाले की सफाई करायी है। जबकि नाले के पास आवाजाही के लिए रास्ता भी बनाया जा रहा है। जिसका कार्य भी दो-चार दिन में पूरा हो जायेगा। बेस चिकित्सालय के चिकित्सा अधीक्षक डॉ. अजेय विक्रम सिंह ने बताया कि रैन बसेरा जल्द मरीजों के साथ आने वाले तीमारदारों के लिए खोल दिया जायेगा। साथ ही चिकित्सालय के कर्मी को इसकी जिम्मेदारी दी जायेगी। रैन बसेरा में एक कमरा महिलाओं तथा एक कमरा पुरूषों के लिए आरक्षित किया गया है। जिसमें चार-चार बेड लगाये जायेगे। इसके साथ ही सफाई से लेकर तमाम व्यवस्थाएं बनाई जा रही है।